प्यारा तिरंगा
आर्यावर्त का प्यारा झंडा
ऊंचा सदा रहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
तूफानों से और विपद् से
ना ये कभी झुकेगा
ऊंचा सदा रहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
आर्यावर्त का........
केसरिया बल का भंडारी
रंग धवल है सच्चाई
हरा रंग है हरी हमारी
धरती सुखद सहाई
और चक्र है कर्म का द्योतक
कदम कभी ना रुकेगा
कदम कभी ना रुकेगा
ऊंचा सदा रहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
आर्यावर्त का........
ब्रह्मऋषि दानी और विदुर
बने संस्कारी यहां पे
रामकृष्ण दयानन्द देवता
थे अवतार दया के
आर्यावर्त से विश्व हमारा
शान्ति-पाठ पढ़ेगा
ऊंचा सदा रहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
आर्यावर्त का.......
परमार्थी बनकर हम आर्य
इसको फहराते हैं
इस झंडे पर मर मिटने को
एकता में बंध जाते हैं
सत्य धर्म और न्याय के हेतु
लोहू सदा बहेगा
लोहू सदा बहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
ऊंचा सदा रहेगा
आर्यावर्त का..
Rare audio of the original national anthem. It was sung in 1943 after Netaji Subhash Chandra Bose raised the Teranga in Port Blair. It was recorded in the studios of Madras in the voices of Colonel Lakshi Sehgal and colleagues. This national anthem is considered to be an invaluable gift of the INA, the national army of the country:
गीत का हर स्वर समर्पित,
हर शब्द का वन्दन तुम्हें है !
रक्त का जो फाग खेले,
भाव का चन्दन तुम्हें है !
आन माटी की बचाने,
देश के हित मिट गए जो,
ओ सरहदों के शहीदों !
लो प्रथम अभिनन्दन तुम्हें है !
Jan gan man with 32 instruments: